Saturday, April 11, 2009


चाहा था जिसे उसे भुलाया गया,
ज़ख्म दिल का लोगों से छुपाया गया,
बेवफाई के बाद भी इतना प्यार करता है दिल उसे,
के बेवफाई का इल्जाम भी उस पर लगाया गया !

4 comments:

मोहन वशिष्‍ठ said...

चाहा था जिसे उसे भुलाया न गया,
ज़ख्म दिल का लोगों से छुपाया न गया,
बेवफाई के बाद भी इतना प्यार करता है दिल उसे,
के बेवफाई का इल्जाम भी उस पर लगाया न गया !


वाह जी वाह बेहतरीन शायरी और पेंटिंग शुभकामनाएं

sujata sengupta said...

Fantastic..keep going..really toooooo good!!

nemish said...

vakai me jaandar hai aapki rachnaye. badhai eske liye

Nemish Hemant said...

vakai me jaandar hai aapki rachnaye. badhai eske liye