Friday, October 1, 2010


बहुत मुश्किल है उनसे दूर रहना,
जुदाई के दर्द को यूँ कब तक सहना?
जानती हूँ मुझसे दूर चले गए बहुत,
पर अरमां है अब तो जाओ सजना !

38 comments:

मनोज कुमार said...

एक मीठी अहसास लिए प्यारी सी रचना।

खबरों की दुनियाँ said...

चार लाईनों में पूरी बात कहने का सामर्थ्य कोई यहाँ आकर देखे सीखे । बधाई उर्मी जी बधाई ।

Neeraj Kumar said...

नन्हीँ सी कविता
दो चार छह,
पँक्तियाँ तो कम हैँ
बातेँ भई वाह!

संगीता स्वरुप ( गीत ) said...

इंतज़ार की घड़ियाँ देर से बीतती हैं ..सुन्दर अभिव्यक्ति

रचना दीक्षित said...

वाह!!! सुन्दर अभिव्यक्ति

Nivedita Thadani said...

Wonderful.
Some times I feel that you read my heart!!!

मनोज भारती said...

खूबसूरत अहसास !!! बहुत सुंदर ।

राज भाटिय़ा said...

हमेशा की तरह बहुत सुंदर जी, धन्यवाद

डॉ टी एस दराल said...

बहुत खूबसूरत अहसास ।

Arvind Mishra said...

उससे नहीं उनसे ..क्यों ?

M VERMA said...

जुदाई के दर्द ..
सुन्दर रचना

सुरेन्द्र "मुल्हिद" said...

aa jayenge sajnna!!

चला बिहारी ब्लॉगर बनने said...

बबली की शायरी इतनी मासूम होती है कि त्रुटियों की ओर ध्यान ही नहीं जाता!!

डॉ. महफूज़ अली (Dr. Mahfooz Ali) said...

मीठा सा एहसास लिए खूबसूरत रचना...

दिगम्बर नासवा said...

गहरा एहसास लिए ... वो आएँ तो चैन आए .... क्या बात है ...

डॉ. रूपचन्द्र शास्त्री 'मयंक' said...

बहुत सुन्दर अश-आर है!
--
दो अक्टूबर को जन्मे,
दो भारत भाग्य विधाता।
लालबहादुर-गांधी जी से,
था जन-गण का नाता।।
इनके चरणों में श्रद्धा से,
मेरा मस्तक झुक जाता।।

पी.एस .भाकुनी said...

सुन्दर अभिव्यक्ति..............

महेन्‍द्र वर्मा said...

सुकोमल भावनाएं, सुंदर शब्द ओर श्वेत श्याम चित्र...तीनों एक ही व्यथा को खूबसूरती से बयान कर रहे हैं। प्रशंसनीय प्रस्तुति।

BK Chowla, said...

Such a lovely poetry

sheetal said...

sundar abhivyakti.

पूनम श्रीवास्तव said...

Bahut sundar bhavon ki pyari abhivyakti-----Bapu evam Shastri ji ke janmdivas ki hardik shubhkamnayen.
Poonam

Hindi Tech Guru said...

सुन्दर अभिव्यक्ति

अजय कुमार said...

सुंदर प्रस्तुति

सूफ़ी आशीष/ ਸੂਫ਼ੀ ਆਸ਼ੀਸ਼ said...

खूबसूरत!
आशीष

Akanksha Yadav said...

बहुत सुन्दर अहसास...शुभकामनायें.

वीरेंद्र सिंह said...

Very touching.....

Rahul Singh said...

बोलते चित्र, सटीक अभिव्‍यक्ति.

Dr. Zakir Ali Rajnish said...

लवली जी, गागर में सागर सा भर दिया है आपने। बधाई स्वीकारें।
................
…ब्लॉग चर्चा में आप सादर आमंत्रित हैं।

#vpsinghrajput said...

बहुत .सुन्दर अभिव्यक्ति

kshama said...

Nihayat sundar!

Udan Tashtari said...

बहुत प्यारी अभिव्यक्ति!!

Priyanka Soni said...

बहुत सुन्दर !

योगेन्द्र मौदगिल said...

wahwa....

Susmita Biswas said...

সময় চলে যায় সস্মৃতির পাতায় সুধু বেদনা
তাই প্রিয়
দুরে আর্ যেও না

তোমার সুন্দর কবিতা পড়তে সময় লাগে কিন্তু মনে পরে যায় অনেক কিছু

Pawan Kumar said...

उर्मी जी काफी दिनों बाद आपके ब्लॉग पर आना हुआ...... फिर भी सुन्दर क्षणिका पढ़ने को मिली.....आभार !
बहुत मुश्किल है उनसे दूर रहना,
जुदाई के दर्द को यूँ कब तक सहना?

hem pandey said...

बहुत मुश्किल है उनसे दूर रहना

- सच में, आत्मीय से दूर रहना बहुत कष्टप्रद होता है |

Unknown said...

shaandaar

jaandaar

shaahkaar

ZEAL said...

sundar panktiyan !---badhaai.